
दो घंटे की बारिश ने खोली नगर पालिका की पोल
कलेक्ट्रेट से लेकर सिविल कोर्ट परिसर झील में तब्दील
बलिया। मंगलवार की दोपहर बाद दो घंटे की बारिश ने मौसम सुहाना करने के साथ तन मन तो भिगाया। लेकिन एक घंटा की बारिश ने शहर में जल निकासी की व्यवस्था की पोल खोल दी। कई मोहल्लों में जलजमाव की स्थिति उत्पन्न हो गई। नगर पालिका की ओर से कुछ दिन पहले नालों के शिल्ट की सफाई कराई गई थी, लेकिन शिल्ट को वहीं पर किनारे रख दिया गया गया था। पहली बारिश में ही वह शिल्ट पुन: नालों में चला गया। इससे बारिश के दिनों में जलजमाव की समस्या और बढ़ेगी।
बारिश से सब्जी की खेती करने वाले किसान खुश हैं।

किसान अशोक वर्मा ने बताया कि इस बारिश से परवल किसानों को भी राहत मिली है। तेज धूप के कारण सब्जी के खेतों से नमी गायब होने लगी थी। अब कुछ राहत मिलेगी। शहर के बहेरी, चंद्रशेखर नगर, एससी कॉलेज चौराहा, कुंवर सिंह चौराहा, जापलिनगंज आदि जगहों पर घर व दुकान में पानी घुस गया। वहीं कलेक्ट्रेट व सिविल कोर्ट परिसर मानो झील में तब्दील हो गया था। उधर मौसम विभाग पटना की मानें तो अभी तक शुरूआत इस तरह की बारिश अभी लगातार जारी रहेगी। मौसम विभाग पटना के अनुसार 10 जुलाई यानी आज से मौसम और भी ज्यादा बिगड़ेगा और लगातार मूसलाधार बारिश का दौर जारी रहेगा।

पानी में उतरकर किया प्रदर्शन, जिला प्रशासन हाय—हाय के लगाए नारे
बलिया। मूसलाधार बारिश के बाद एनएच— 31 से पानी निकासी न होने पर मंगलवार की शाम बहेरी गांव के लोगों ने पानी में उतरकर प्रदर्शन किया। इस दौरान जिला प्रशासन हाय, हाय, ठेकेदार हाय हाय के नारे भी लगाए। इस दौरान चेताया कि यदि जल्द से जल्द समस्या का समाधान नहीं हुआ तो आंदोलन के लिए बाध्य होंगे। बताया कि हैबतपुर से कदम चौराहा तक एनएच—31 के दोनों साइड में जो नाला बनाया गया है, वह एक तो सड़क से उंचा है, दूसरा उसमें होल न होने के कारण तथा नाला जाम होने के कारण पानी निकासी नहीं हो पा रही है। जिससे इस इलाके दुकानदारों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। स्थानीय लोगों की मानें तो अभी तक बरसात की शुरूआत है तो यह हाल है। आगे क्या होगा, इसका अंदाजा कोई भी लगा सकता है। इस मौके पर शमीम खान, अयुब मिस्त्री, अंशु गिरी, आलमगिर शेख आदि लोग रहे।
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किसान हुए खुश, निकल पड़े खेत की ओर
बलिया। मूसलाधार बारिश से किसान गदगद हो गए। खेतों में पानी लग जाने से किसान धान की बेहन डालने के लिए खेतों की ओर निकल पड़े। किसानों की मानें तो वैसे तो बारिश लगातार एक सप्ताह से जारी है, लेकिन आज जो बारिश हुई वह धान की बेहन डालने के लिए सबसे ज्यादा उपयोगी है।